Budh purnima 26 may ,हिन्दू धर्म में बुद्ध पूर्णिमा का क्या महत्व है

बुध पूर्णिमा कब हैं 2021 (When is Budhpurnima2021) -
क्यों  खास हैं बुद्ध पूर्णिमा (Why Buddhapurnima is special) 
भगवान बुद्ध का जन्म वैशाख मास की पूर्णिमा को हुआ था इसलिए पूर्णिमा को बुद्ध पूर्णिमा कहते हैं

बुद्ध का संदेश वर्तमान में ज्यादा प्रासंगिक क्यो हैं।
भगवान बुद्ध क्या कहते(What does lord buddha say)


बुद्ध पूर्णिमा (Buddha Purnima): (प्रदीप गढ़वाल )भगवान बुद्ध का जन्म वैशाख मास की पूर्णिमा को हुआ था इसलिए पूर्णिमा को बुद्ध पूर्णिमा कहा जाता है। देश भर में 26 मई को  बुद्ध पूर्णिमा का पर्व मनाया जायेगा। बुद्ध पूर्णिमा बौद्ध अनुयायियों के साथ-साथ हिंदुओं के लिये भी खास पर्व है. हिन्‍दू धर्म में गौतम बुद्ध को भगवान विष्णु का नौवां अवतार माना जाता है. 

भगवान बुद्ध का जन्म कहां हुुआ (Where is lord buddha born)-
इतिहासकारों के अनुसार बुद्ध के जीवनकाल को 563-483 ई.पू. के मध्य माना गया है. अधिकांश लोग नेपाल के लुम्बिनी नामक स्थान को बुद्ध का जन्म स्थान मानते हैं।(Nepal's place called Lumbini is considered to be the birthplace of Buddha.)

क्यों  खास हैं बुद्ध पूर्णिमा (Why Buddhapurnima is special) -
हिंदू(Hindu) धर्म के अनुसार, गौतम बुद्ध को भगवान विष्णु का 9वां अवतार माना जाता है। इसके साथ ही कपिलवस्तु के राजकुमार सिद्धार्थ को वैशाख पूर्णिमा की चांदनी रात में ज्ञान मिला था। इसके बाद वह बुद्ध और वैशाख पूर्णिमा, बुद्ध पूर्णिमा के नाम से विश्व विख्यात हुई।

भगवान बुद्ध क्या कहते(What does lord buddha say)
बुद्ध कहते हैं जिन चीजों में लोग सुख ढूंढ़ते हैं, उनके मूल में आखिरकार दुख ही दुख निकलता है। मौजूदा वक्त में भी देखा जाए तो जो व्यक्ति खुद को जितना ज्यादा भोग-विलास और नशीले पदार्थों में डुबोकर सुखों की चाह में लगा रहता है, उसका अंत ही दुखभरा होता है।
मनुष्य के जीवन काल में दुख-दर्द, उतार-चढ़ाव आते रहते हैं। व्यक्ति को दूसरो के नहीं बल्कि अपने सहारे ही चलना पड़ता है। दूसरे की बैसाखी बनने से मंजिल तक नहीं पहुंचा जा सकता।

बुद्ध का संदेश वर्तमान में ज्यादा प्रासंगिक है(Buddha's message is currently more relevant)

लांबा कोचिंग कोलेज झुंझुनू(Lamba Coaching College Jhunjhunu) के शिक्षाविद् शुभकरण लांबा(Shubhakaran Lamba) ने बुध पूर्णिमा के महत्व पर प्रकाश डालते हुए  कहते हैं कि  बुद्ध पूर्णिमा गौत्तम बुद्ध का जन्म ज्ञान प्राप्ति व महानिर्वाण दिवस है। बुद्ध भारत के पहले व्यक्ति थे, जिन्होंने विश्व के लोगों में चेतना जगाई कि वे कर्मकांड, पाखंड, अंधविश्वास व कुरीतियों को त्योगे । काल्पनिक देवी-देवताओं के जाल से जल निकले सद्कर्म को जीवन का आधार बनाएं। प्रकृति के नजदीक रहें और मानव व वैज्ञानिक दृष्टिकोण अपनाए। कोरोना जैसी महामारी हमें चेतावनी दे रही है कि हम बुद्ध के संदेश को अपने संस्कारों का अंग बनाए ताकि कोविड-19 को हरा सकें। बुद्ध के दर्शन को अपनाने वाले भारत में कम और भारत के बाहर ज्यादा है। लांबा ने विद्यार्थियों से अपील की है कि गौत्तम बुद्ध के दर्शन को अंगीकार करने के फलस्वरुप हम जगत के सच्चे मानव बन पाएंगे और धार्मिक कट्टरता, कर्मकांड व अंधविश्वासों से दूर रह कर वैज्ञानिक दृष्टिकोण को अपने व्यक्तित्व में विकसित कर सकेंगे।

बुध पूर्णिमा कब हैं (When is Budhpurnima) -  
बुद्ध पूर्णिमा 26 मई बुधवार को मनाई जाएगी।
पंडितों के अनुसार इस दिन किया गया व्रत और विष्णु और चंद्र पूजन अति शुभ फलदायी माना जाता है. वहीं इस बार पूर्णिमा पर साल का पहला चन्द्र ग्रहण (Lunar Eclipse) भी लगने जा रहा है, जिससे इस वर्ष की  पूर्णिमा का महत्व और भी बढ़ गया है। लेकिन बुद्ध हमेशा से कर्म कांडों के खिलाफ रहे हैं।

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